Saturday, February 11, 2017

हुड़दंग २०१७ - जय श्रीवास्तव


इस वर्ष के हुड़दंग में अपनी कविताओं से रंग भरेंगे, अल डोराडो हिल्स में रहने वाले जय श्रीवास्तव। उत्सव और उल्लास जय की प्रवृत्ति में हैं और अच्छी कविता की समझ उन्हें अपने पिता से विरासत में प्राप्त हुई है। सामाजिक और सांस्कृतिक कार्यों में बढ़ चढ़ कर हिस्सा लेने वाले जय को इस हुड़दंग में सुनकर आपका मन भी गार्डन गार्डन हो जाएगा। द्वार ठीक साढ़े तीन बजे खुलेंगे, हमारे अपने लक्ष्मी नारायण मंदिर के सभागार में, चार मार्च २०१७ के दिन, आप भी आइयेगा हमारे साथ कविताओं का हुड़दंग मचाने। 

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